मद-मस्त पत्तियाँ Posted on May 23, 2021June 18, 2021 by Taru Agarwal हवा के झोंकों में,इठलाती हैं पत्तियाँ,पवन के स्पर्श से,सिहरती हैं पत्तियाँ,सूर्य की रोशिनी से,जीवन पाती हैं पत्तियाँ,परन्तु पवन के झिंझोड़ने से ही,खिलखिलाती है पत्तियाँ,हवा के संगीत पर,शब्द बिखेरती हैं पत्तियाँ,सब छोड़ न्योछावर हो पवन पर,मद–मस्त हो जाती हैं पत्तियाँ। Published by Taru Agarwal View all posts by Taru Agarwal
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